गुजरात में तनाव बरकरार है क्योंकि पटेल समुदाय के कोटा आंदोलन के दौरान मंगलवार को हुए संघर्ष में मरने वालों की संख्या गुरुवार को नौ हो गई तथा हिंसा पर अंकुश के लिए और शहरों में सेना तैनात की गई है। पुलिस कंट्रोल रूम के अधिकारियों ने बताया कि राज्यों में देर रात को पथराव की कुछ घटनाओं के अलावा अन्य कहीं से भी बड़ी हिंसा की खबर नहीं है। दाभोली इलाके में प्रदर्शनकारियों के साथ झड़पों में चौक बाजार पुलिस थाने का सिपाही दिलीप राठोर घायल हुआ था जिसकी एक निजी अस्पताल में मौत होने के साथ ही हिंसा में जान गंवाने वालों की संख्या नौ हो गई। अहमदाबाद, सूरत, राजकोट, मेहसाणा, पालनपुर, उंझा, विसनगर और जामनगर शहरों में कर्फ्यू जारी है। हालांकि पाटन में कर्फ्यू हटा लिया गया है। बीती रात अहमदाबाद में सेना के पांच कॉलम तैनात किए गए। प्रत्येक कॉलम में 57 जवान हैं। सेना के अधिकारियों ने यह जानकारी देते हुए बताया कि सूरत, मेहसाणा और राजकोट में सेना के दो दो कॉलम तैनात किए गए हैं। अहमदाबाद के पांच इलाकों में बुधवार को सेना ने फ्लैग मार्च किया। प्रदर्शनकारियों ने कम से कम आठ जगहों पर रेलवे पटरियों को क्षतिग्रस्त कर दिया जिससे ट्रेन सेवाएं प्रभावित हुई हैं। रेलवे के एक अधिकारी ने बताया कि 12 ट्रेनें रद्द की गई हैं और 19 को आंशिक रूप से रद्द किया गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजराती भाषा में दिए टेलीविजन संदेश में लोगों से शांति की अपील की और इस बात पर जोर दिया कि बातचीत से सभी मुद्दों को सुलझाया जा सकता है। प्रधानमंत्री बनने से पहले 12 साल तक गुजरात के मुख्यमंत्री रहे मोदी ने कहा, ‘‘महात्मा गांधी और सरदार पटेल की धरती पर किस तरह हिंसा का सहारा लिया जा रहा है.... मैं गुजरात के सभी भाइयों और बहनों से अपील करता हूं कि उन्हें हिंसा का रास्ता नहीं अपनाना चाहिए। केवल एक मंत्र होना चाहिए ‘शांति’।’’ केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने आज सुबह मुख्यमंत्री आनंदीबेन पटेल से बात की और उन्हें हालात से निपटने में केंद्र की ओर से पूरी तरह सहायता का आश्वासन दिया। इस बीच पटेल अनामत आंदोलन समिति के नेता 22 वर्षीय हार्दिक ने हिंसा के लिए पुलिस को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि आने वाले दिनों में आंदोलन और तेज होगा। मंगलवार रात प्रदर्शनकारियों द्वारा हिंसा भड़काने के आरोपों को खारिज करते हुए हार्दिक ने पुलिस पर आरोप लगाया कि राजनीतिक तंत्र के इशारे पर आंदोलन को बाधित करने का प्रयास किया जा रहा है। पटेल समुदाय को ओबीसी कोटे के तहत आरक्षण देने की मांग को लेकर आंदोलन तेज करने की चेतावनी देने वाले हार्दिक पटेल को कल रात हिरासत में लिये जाने के बाद भड़की हिंसा की आग आज गुजरात के कई हिस्सों में सुलगती रही। हार्दिक द्वारा बंद के आह्वान के बाद बुधवार को कई जगहों पर सामान्य जनजीवन अस्तव्यस्त रहा और स्कूल, कॉलेज, व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रहे। बैंक और सार्वजनिक परिवहन के साधन भी बंद रहे। पुलिस ने कहा कि आंदोलनकारियों ने राज्य में कम से कम आठ स्थानों पर रेल पटरियों को उखाड़ दिया। एक व्यक्ति बुधवार अपराह्न में उत्तरी गुजरात के महेसाणा कस्बे के बाहरी क्षेत्र में मोधेरा चौराहे पर पथराव कर रही भीड़ पर गोलीबारी में मारा गया। पुलिस अधिकारी रतन सिंह ने कहा, ‘‘23 राउंड गोली चलाई गयीं। नीलेश पटेल नामक शख्स मारा गया।’’ पुलिस ने कहा कि पालनपुर कस्बे के पास गढ़ गांव में एक थाने में आग लगाने की कोशिश कर रही भीड़ पर पुलिस की गोलीबारी में तीन लोग मारे गये। बनासकांठा के जिला कलेक्टर दिलीप राणा ने कहा, ‘‘दोपहर करीब एक बजे उग्र भीड़ गढ़ थाने में घुस आई और उसे जलाने का प्रयास किया। स्थानीय पुलिसकर्मियों ने अपने बचाव के लिए कुछ राउंड गोलियां चलाईं जिसमें दो लोगों की मौत हो गयी। पालनपुर में किसी अप्रिय घटना से बचने के लिए कफ्र्यू लगा दिया गया है।’’ एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के अनुसार वस्त्रल इलाके में पुलिस गोलीबारी में दो लोगों की मौत हो गयी, वहीं शहर के घाटलोदिया इलाके में एक व्यक्ति का शव मिला। उन्होंने कहा, ‘‘कल देर रात पुलिस गोलीबारी में 47 वर्षीय गिरीश पटेल और उनके बेटे सिद्धार्थ पटेल (20) की मौत हो गयी।’’ अधिकारी ने दावा किया, ‘‘घटना उस समय घटी जब भीड़ ने पुलिस से हथियार झपटने की कोशिश की। इन दोनों ने एक पुलिसकर्मी से राइफल छीनने की कोशिश की थी और इस दौरान झड़प में वे मारे गये।’’ पुलिस को घाटलोदिया में एक व्यक्ति का शव मिला जिसकी मृत्यु सिर में गंभीर चोट लगने से हुई थी। पुलिस के अनुसार समझा जाता है कि कल रात संघर्ष में उसकी बुरी तरह पिटाई की गयी।