भारत अब एलएसी पर चीनी सैनिकों की घुसपैठ को गंभीरता से ले रहा है। मोदी सरकार ने चीन की आपत्तियों की परवाह किए बिना सीमा पर 54 नई सीमा चौकियां बनाने और अरुणाचल प्रदेश में सीमा के पास ढांचागत निर्माण के लिए 175 करोड़ रुपये के पैकेज की घोषणा की है। चीन के साथ लगती भारतीय सीमा की रक्षा करने वाले संगठन आईटीबीपी के 53वें स्थापना दिवस पर राजनाथ सिंह ने कहा कि सरकार आईटीबीपी के लिए 54 सीमावर्ती चौकियां बनाने की योजना पर काम कर रही है और साथ ही अरुणाचल प्रदेश में सीमा के निकट ढांचागत निर्माण के लिए 175 करोड़ रुपयों के पैकेज पर भी विचार हो रहा है। राजनाथ सिंह ने कहा है कि भारत चीन के साथ शांतिपूर्ण संबंध चाहता है, लेकिन सम्मान से कोई समझौता नहीं किया जाएगा। हाल ही में चीन के साथ सीमा पर हुए तनाव का जिक्र करते हुए गृह मंत्री ने कहा, 'हम लोग शांति चाहते हैं, सम्मान के साथ। इसके बिना शांति नहीं हो सकती।' उन्होंने कहा, 'जब हम सुनते हैं कि पाकिस्तान ने गोलीबारी की या चीन ने सीमा पर कुछ विवाद किया तो हमें दुख होता है और गुस्सा आता है।' उन्होंने कहा, 'सम्मान इंसान की सबसे बड़ी उपलब्धि है। मेरी और आपकी।' राजनाथ सिंह ने कहा कि ये सभी चौकियां अरुणाचल प्रदेश में बनाई जाएंगी जहां वास्तविक नियंत्रण रेखा पर अभी चौकियों के बीच काफी फासला है। चीन की वास्तविक नियंत्रण रेखा के पास ढांचागत विकास और सीमा चौकियां बनाए जाने को लेकर की जा रही आपत्तियों को देखते हुए गृह मंत्री का यह बयान अहम माना जा रहा है।